बून्दी जिले मे तिलहन उत्पादन व खाद्य तेल उद्योग का भौगोलिक विश्लेषण (Geographical Analysis of Oilseed Production and Edible Oil Industry in Bundi District)

Innovation The Research Concept:(ISSN: 2456–5474 RNI No.UPBIL/2016/68367 Vol.-5* Issue-12* January- 2021)
Paper Submission: 15/01/2021, Date of Acceptance: 27/01/2021, Date of Publication: 28/01/2021

Abstract

 भारतेन्दु गौतम

सहायक आचार्य,

भूगोल विभाग,

राजकीय महाविद्यालय, बून्दी राजस्थान, भारत

उद्या ेग व विनिर्मा ण मानव की प ्रमुख आर्थि क क्रिया है ं। औद्योगिक

विकास किसी भी देश के आर्थि क विकास व प ्रगति का द्योतक ह ैं। उद्या ेगा ें का े

प ्रयुक्त कच्चे माल के आधार पर विभिन्न श्र ेणियों मे ं वर्गी कृत किया जाता ह ैं। वे

उद्या ेग जिनमें कच्चे माल के रूप में कृषि उत्पादों का प ्रयोग होता है कृषि

आधारित उद्योग कहलाते ह ैं। खाद्य तेल उद्या ेगा ें में विभिन्न तिलहना ें को कच्चे

माल के रूप में प ्रयुक्त किया जाता है ं। भारत जैसे देश में जहां कृषि प्रमुख

आर्थिक क्रिया है, कृषि आधारित उद्या ेग अर्थ व्यवस्था में प ्रमुख स्थान रखते ह ैं।

राजस्थान में विविध प ्रकार के तिलहना ें का उत्पादन प ्रचुर मात्रा में किया जाता

ह ैं। राजस्थान सरसों, सा ेयाबीन, मूंगफली, तिल, अलसी जैसे तिलहना ें के

उत्पादन में अग्रणी ह ैं। अध्ययन क्षेत्र ब ून्दी जिला भी विविध प्रकार के तिलहना ें

के उत्पादन में महत्वपूर्ण स्थान रखता है ं फलस्वरूप बून्दी जिले में खाद्य तेल

उद्या ेग का विकास (विश ेषतः वृहद-मध्यम स्तर पर) ह ुआ ह ैं। तिलहन उत्पादन

व अन्य भा ैगोलिक दशाओं पर दृष्टिपात करनें पर ज्ञात हा ेता है कि बून्दी जिले

में खाद्य तेल उद्या ेग की अवस्थापना व विकास की असीम संभावनाऐं विद्यमान

ह ैं। खाद्य तेल उत्पादन उद्या ेग का े प ्रोत्साहन प ्रदान कर तथा इसक े विकास के

समक्ष विद्यमान समस्याओं के समाधान के द्वारा खाद्य तेल उद्या ेग को ब ून्दी

जिले की अर्थव्यवस्था का आधार बनाया जा सकता हैं।

                Industrial and manufacturing are the main economic activities for humans being. Industrial development represents the economic development and progress of any country. Industries are classified into various categories based on the raw materials which are used. The industries in which agricultural products are used as raw materials are called agro-based industries. Various oilseeds are used as raw materials in the edible oil industries. In a country like India where agriculture is the dominant economic activity, agro-based industries occupy a prominent position in the economy. Various types of oilseeds are produced in abundance in Rajasthan. Rajasthan is a pioneer state in the production of oilseeds like mustard, soybean, groundnut, sesame and flaxseed. The study area Bundi district also holds an important place in the production of various types of oilseeds, resulting in the development of edible oil industry in Bundi district (especially at the large-medium scale). Taking a look at oilseed production and other geographical conditions, it is known that there are immense possibilities of establishment and development of edible oil industry in Bundi district. The edible oil industry can be developed as the base of the economy in Bundi district. It can be done by encouraging the development of edible oil industries, development of agriculture production and solving the problems of industrial sector, especially the problems of edible oil industries.

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